लूट, दुष्कर्म एवं हत्या के दो आरोपियों को दोहरा आजीवन करावास

सागर, 21 जुलाई। पंचम अपर सत्र न्यायाधीश सागर श्री आर. प्रजापति के न्यायालय ने आरोपी सुरेन्द्र पुत्र लटोरी विश्वकर्मा उम्र 28 वर्ष एवं आरोपी गोलू पुत्र भगवानदास अहिरवार उम्र 22 वर्ष निवासीगण संत रविदास वार्ड सागर को 60 वर्षीय महिला के साथ लूट, दुष्कर्म व हत्या करने का दोषी पाते हुए धारा 460, 397 भादंवि में 10-10 वर्ष का कठोर कारावास एवं धारा 376(घ), 302 भादंवि में दोहरा आजीवन कारावास व 200-200 रुपए जुर्माने से दण्डित किया है। प्रकरण में राज्य शासन की ओर से पैरवी उप-संचालक (अभियोजन) अनिल कुमार कटारे एवं वरिष्ठ सहायक जिला अभियोजन अधिकारी सौरभ डिम्हा ने की।
लोक अभियोजन के मीडिया प्रभारी/एडीपीओ सौरभ डिम्हा ने प्रकरण की जानकारी देते हुए बताया कि 26 अगस्त 2019 को फरियादी द्वारा रिपोर्ट लेख कराई गई कि वह अपने घर में भाई व मां के साथ रहता है। हम लोग ड्राइवरी का काम करते हैं। 18 अगस्त 2019 को रक्षाबंधन का त्यौहार मनाकर मैं और मेरे भाई ड्राइवरी का काम करने घर से बाहर चले गए थे। घर में मेरी मां अकेली थी। 26 अगस्त 2019 को सुबह करीब 9.30 बजे मेरे पड़ोसी ने मुझे फोन पर बताया कि तुम्हारी मां दो-तीन दिन से घर से नहीं निकली हैं, हम मोहल्ले वालों ने तुम्हारे घर जाकर देखा तो तुम्हारी मां घर के कमरे में चादर ओढ़कर लेटी थी और उनके सिर से खून बह रहा था। जानकारी मिलने पर मैं घर आया घर पर पहुंचकर देखा तो मां के सिर पर चोट लगी देखी, गले पर निशान थे और शरीर पर कपड़े नहीं थे, पास में चूडिय़ां टूटी हुई पड़ी थीं, मां का मोबाइल नहीं था, शरीर व कमरे की स्थिति देखकर ऐसा लग रहा था कि किसी व्यक्ति ने घर में घुसकर दुष्कर्म कर उनकी हत्या कर दी। मामले में मर्ग कायम किया गया। थाना मोतीनगर द्वारा प्रकरण पंजीबद्ध कर मामला विवेचना में लिया गया। विवेचना के दौरान शव का पोस्ट मार्टम कराया गया, घटना स्थल से महत्वपूर्ण साक्ष्य एकत्रित किए गए। साक्षियों के कथन लेखबद्ध किए गए घटना का नक्शा मौका तैयार किया गया। घटना स्थल से जब्त वस्तुओं को परीक्षण हेतु एफएसएल भेजा गया। सीडीआर व अन्य साक्ष्य के आधार पर आरोपी गोलू व सुरेन्द्र से पूछताछ की गई। पूछताछ के दौरान उन्होंने बताया कि 23 अगस्त 2019 को रात्रि करीब 11-12 बजे हम लोगों ने महिला के घर पर चोरी की योजना बनाई थी। रॉड व सरिया लेकर घर में गए। घर का ताला तोड़कर घर के अंदर घुस गए, इतने में महिला की नींद खुल गई वह चिल्लाई तो उसे धक्का दे दिया, जिससे उसका सिर दीवाल से टकरा गया और सिर में से खून निकलने लगा और उसे घसीटकर कमरे में ले गए। महिला के कान के कुण्डल व रुपए छीन लिए। महिला को देखकर गोलू की नीयत खराब हो गई। सुरेन्द्र ने महिला को पकड़ा और गोलू ने उसके साथ दुष्कर्म किया। फिर हम लोगों ने उस महिला का गला दबा दिया, हम लोगों ने सोचा कि महिला मर गई है तो हम लोगों ने दूसरे कमरे का कुंदा तोड़ा, कुंदा टेढ़ा होने से नहीं खुला, फिर हम लोग घर से निकल आए। प्रकरण में आरोपीगण से घटना में प्रयुक्त महत्वपूर्ण सामान जब्त किया गया। लूट का सामान भी आरोपीगण से जब्त कराया गया। विवेचना के दौरान आरोपीगण का डीएनए कराकर एफएसएल परीक्षण हेतु भेजा गया। एफएसएल रिपोर्ट में डीएनए प्रमाणित पाया गया। विवेचना उपरांत अभियोग पत्र न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया गया। विचारण के दौरान अभियोजन द्वारा 23 अभियोजन साक्षियों को परीक्षित कराया गया। एफएसएल रिपोर्ट को प्रमाणित कराया गया। न्यायालय के समक्ष अभियोजन की ओर से आरोपीगण द्वारा घर में घुसकर लूट करने, मृतिका के साथ दुष्कर्म व उसकी हत्या करने के ठोस सबूत एवं न्यायदृष्टांत प्रस्तुत किए गए। अभियोजन द्वारा प्रस्तुत सबूतों और दलीलों से सहमत होते हुए न्यायालय ने आरोपी गोलू व सुरेन्द्र को दोहरे आजीवन कारावास की सजा से दण्डित करने का निर्णय पारित किया है।