– स्थानीय निवासियों ने कई बार की शिकायत, अभी तक नहीं हुई कार्रवाई
भिण्ड, 21 सितम्बर। मिहोना तहसील स्थित बैजनाथ धाम मन्दिर ग्राम बारहैट में ट्रस्ट की अनियमितता के संबंध में ग्रामीणों ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिखा एवं धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व मंत्री धर्मेन्द्र लोधी से मुलाकात कर शिकायत पत्र दिया। जिसमें बताया गया है कि बैजनाथ धाम मन्दिर के विषय में पूर्व में सीएम हेल्पलाइन एवं शासन प्रशासन को ईमेल के माध्यम से एवं लिखित आवेदन के माध्यम से एवं मुरैना सांसद द्वारा मुख्यमंत्री को पत्र तथा भिण्ड कलेक्टर एवं एसडीएम लहार के माध्यम से मन्दिर ट्रस्ट द्वारा की जा रही अनियमितता के संदर्भ में शिकायतें की गई है, जबकि शासन प्रशासन ने मन्दिर की अनियमितता पर अभी तक कोई रोक नहीं लगाई, ना ही मन्दिर समस्या पर ध्यान दिया।
बैजनाथ धाम मिहोना तहसील का ऐतिहासिक मन्दिर है। मन्दिर में जो ट्रस्ट अभी वर्तमान समय में चल रहा है, उसमें अधिकतर लोग आज जीवित नहीं है, ट्रस्ट में 6 लोग उम्रदराज जीवित हैं एवं शेष सदस्य व पदाधिकारी फोत हो चुके हैं और जो जीवित नहीं हैं, उनके परिजन अनुकंपा नियुक्ति के आधार पर अपने को ट्रस्ट समिति में उत्तराधिकारी के हिसाब से मन्दिर के जमीन एवं मन्दिर संचालन में ग्राम स्तर पर राजनीतिक लाभ के उद्देश्य से हस्तक्षेप करते हैं जबकि यह न्यायपूर्ण नहीं है। मन्दिर में की जा रही अनियमितता की शिकायत प्रार्थी बारहैट निवासी शैलेन्द्र ङ्क्षसह ने की, उसके उपरांत यह पाया गया कि मन्दिर ट्रस्ट के दिवगंत लोगों के परिजनों ने बंद कमरे में कूटरचित तरीके से आपस में सलाह करके स्वघोषित पदाधिकारी बनकर एक ट्रस्ट गठन करके एसडीएम लहार के यहां अनुमोदन के लिए भेजा है।
जबकि नियमानुसार मन्दिर क्षेत्र के चार पांच गांव के लोगों के अंदर आता है, बिना किसी जानकारी के इस तरह कूटरचित तरीके से ट्रस्ट बनाकर एसडीएम लहार कार्यालय के यहां नियुक्ति के लिए अपील करना नियम विरुद्ध है।
क्षेत्र के ग्रामवासियों ने जिला प्रशासन से मांग की है कि मन्दिर से संबंधित प्रशासनिक व्यवस्था को अपने हाथ में लेकर अपील की गई नियुक्ति प्रक्रिया पर रोक लगाकर नए आदेश से सभी गांवों में ग्राम सभा के लोगों द्वारा मन्दिर प्रांगण में मन्दिर संचालन एवं ट्रस्ट गठन की प्रक्रिया प्रदर्शिता से करवाई जाए अथवा प्रशासक कलेक्टर भिण्ड अथवा एसडीएम लहार को नामित किया जाए। ताकि मन्दिर में की जा रही अनियमितता एवं कूटरचित ट्रस्ट गठन पर रोक लगाई जा सके। साथ ही मन्दिर की आय का ऑडिट कराया जाए।