न्यायालय ने आरोपी पर 15 हजार का जुर्माना भी लगाया
रायसेन, 19 सितम्बर। अनन्य विशेष न्यायाधीश (लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012) जिला रायसेन श्रीमती नौशीन खान के न्यायालय ने आरोपी अरुण पोटफोड़े को नाबालिग को बहला-फुसलाकर भगाकर ले जाने एवं उसके साथ बलात्संग करने के आरोप में दोषसिद्ध पाए जाने पर धारा 376(3) भादंसं के अंतर्गत 20 वर्ष एवं लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 की धारा 3/4, 5/6 के अंतर्गत आरोपी को 20 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 15 हजार रुपए जुर्माने से दण्डित किया है। प्रकरण में राज्य की ओर से पैरवी विशेष लोक अभियोजक जिला रायसेन श्रीमती भारती गेडाम ने की।
अभियोजन मीडिया प्रभारी जिला रायसेन श्रीमती शारदा शाक्य के अनुसार प्रकरण का संक्षेप में विवरण इस प्रकार है कि अभियोक्त्री की मां ने थाना मण्डीदीप में गुमशुदगी की रिपोर्ट इस आशय की दर्ज कराई कि 15 जनवरी 2021 को रात्रि आठ बजे उसकी पुत्री अभियोक्त्री कहीं चली गई, जो देर रात तक घर वापस नहीं आई। अभियोक्त्री की तलाश मण्डीदीप में तथा आस-पास मोहल्ले में की गई, किन्तु अभियोक्त्री का कोई पता नहीं चला। उसे शंका है कि अरुण पोटफोड़े उसकी पुत्री को बहला-फुसलाकर भगाकर ले गया है। उक्त सूचना के आधार पर थाना मण्डीदीप, जिला रायसेन में आरोपी के विरुद्ध अपराध क्र.31/2021 धारा 363 भादंसं की प्रथम सूचना लेखबद्ध की गई। प्रकरण की संपूर्ण विवेचना एवं आवश्यक अनुसंधान उपरांत आरोपी के विरुद्ध अभियोग पत्र न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया गया।