कसल में लगभग तीन माह से नहीं मिल रहा खाद्यान, ग्रामीणों ने लगाए कई आरोप

नियमानुसार नहीं खुलती है शासकीय उचित मूल्य की दुकान

भिण्ड, 02 फरवरी। जिले की लहार जनपद के अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायत बड़ागांव नं.दो की शासकीय उचित मूल्य की दुकान पर इन दिनों जमकर गड़बड़ घोटाला होता हुआ नजर आ रहा है। क्योंकि शासन के द्वारा गरीबों के लिए आने वाला खाद्यान्न कहां जा रहा है कहीं कुछ पता नहीं चल रहा है। जब इसकी जानकारी मीडिया कर्मियों को लगी तो मीडिया कर्मी भी हकीकत जानने के लिए ग्राम कसल पहुंचे, जहां ग्रामवासियों ने एक होकर खाद्यन्न न मिलने की बात कही।
तो वहीं ग्रामीणों ने प्रेस के सामने दो माह से कटी हुई खाधान्न की पर्ची दिखाई। साथ ही ग्रामीण बता रहे है कि उन्हें लगभग पिछले तीन माह से शासकीय उचित मूल्य की दुकान से खाद्यान्न नहीं मिल रहा है, बड़ागांव नं.दो पंचायत के ग्राम कसल के ग्रामीणो ने एकत्रित होकर मामला बताते हुए कहा कि सर्वप्रथम तो हमें दुकान खुलने की एवं दुकानदार के आने की सूचना ही नहीं मिलती है, जैसे तैसे महीने में एक या दो बार एक दो घण्टे के लिए दुकानदार आ भी जाते हैं तो वह हम से सेल्समेन मशीन पर दो बार अंगूठा लगवा कर पर्ची बना कर बोलते है कि अब जब दुकान पर खाद्यान्न वितरण किया जाएगा। तब आप सभी दुकान पर आ जाना वहां आप लोगों को खाद्यान्न मिल जाएगा। अब यह खाद्यान्न किस दिन और कब वितरित किया जाएगा, हमें ऐसी कोई जानकारी नहीं दी जाती है। जब हम एक-दूसरे से संपर्क करते हैं, तब हमें पता चलता है कि आज दुकान खुल गई है, खाद्यान्न वितरित हो रहा है। जब तक हम लोग दुकान पर पहुंचते हैं तो कभी दुकानदार हमारे पहुंचने से पहले वहां से भाग जाते हैं या फिर कभी मिल जाते तो कुछ चुनिंदा लोगों को खाद्यान्न वितरित कर हम से बोल दिया जाता है कि आप सभी जाओ खाद्यान्न खत्म हो गया है, अब जब खाद्यान्न आएगा तब आप लोगो दिया जाएगा। इसके बाद अगला माह आ जाता है और पुराना माह निकल जाता है। इस प्रकार से आज हमें तीन माह हो गए हैं, खाद्यान्न नहीं मिला है।

वहीं ग्रामीणों ने बताया कि हमारे द्वारा एक लिखित आवेदन भी तैयार कर लिया गया है, जिसे जल्द ही हम लोग लहार अनुविभागीय अधिकारी राजस्व (एसडीएम) को सौपेंगे। इस विषय में जब वृहताकार संस्था दबोह के समिति प्रबंधक से बात करने के लिए पहुंचे तो वह अपनी सफाई देते हुए कैमरे पर बोलने से मना करते हुए नजर आए। वहीं बड़ागांव नं.दो के दुकान विक्रेता अखिलेश शर्मा से जब दूरभाष के माध्यम से संपर्क करने का प्रयास किया गया तो उन्होंने कॉल रिसीव नहीं किया। इस संपूर्ण मामले की सच्चाई क्या है? यह तो शासन के द्वारा नियुक्त जिम्मेदार ही जानें, पर ग्रामीणों की बातों पर विश्वास करना या न करना यह तो उनके द्वारा दिए गए सबूतों के आधार पर बड़ेगांव नं.दो की शासकीय उचित मूल्य की दुकान पर एक बहुत बड़ा फर्जीबाड़ा होने का संकेत दे रहा है। जब इस मामले की तह तक जाने के लिए शाखा प्रबंधक से प्रतिक्रिया लेनी चाही तो वह अपनी जिम्मेदारी छोड़कर कैमरे की नजर से अपना मुंह छिपाते हुए नजर आए। वहीं ग्राम कसल के ग्रामीण सीना तानकर कैमरे के सामने उक्त जिम्मेदारों पर आरोप लगा रहे है। अब ग्रामीणों द्वारा लगाए गए आरोप कितने सत्य हैं यह जांच का विषय बना हुआ है और यह जांच कब तक होगी, ये भी कहना मुश्किल है।

इनका कहना है-

वर्तमान में लहार में उपस्थित नहीं हूं, आप समिति प्रबंधक से बात कर लीजिए।
सुनील मुदगिल, कनिष्ठ आपूर्ति अधिकारी, लहार
ऐसा कोई मामला मेरे सज्ञान में नहीं है, परंतु आपके द्वारा बताया जा रहा तो मामले की जांच कर संबंधित दोषी के खिलाफ उचित कार्रवाई की जाएगी।
आरए प्रजापति, अनुविभागीय अधिकारी राजस्व (एसडीएम) लहार