संतों के समागम से समाज और संस्कृति मुस्कुराती है : विराग सागर

भिण्ड, 25 जून। चैत्यालय जैन मन्दिर में विराजमान गणाचार्य विराग सागर महाराज की चरण वंदना के लिए ग्वालियर से पद विहार करते हुए विहर्ष सागर महाराज, विजयेश सागर महाराज का नगर में मंगल प्रवेश हुआ। जिसमें उन्होंने गणाचार्य की चरण वंदना कर पाद प्रक्षालन किया तभी गुरू ने गले लगाकर उन्हें आशीर्वाद दिया।

उपस्थित श्रृद्धालुगण

इस अवसर पर गणाचार्य विराग सागर महाराज ने कहा कि संतों के मिलन को देखकर के प्रकृति मुस्कुराये या न मुस्कुराये कोई फर्क नहीं पड़ता लेकिन ये सत्य है कि संतों का मिलन देखकर के संस्कृति मुस्कुराती है। संस्कृति मुस्कुरायें और उसके अंदर में मुस्कुराहट आए अच्छी बात है। सबसे बड़ी बात ये है कि जब दो संतों का मिलन होता है तब समाज में एक ऐसी शिक्षा और बहुत बढ़ा उपदेश देकर जाती है कि मिलने में जो आनंद होता है वह बिछुडऩे में नहीं होता। दो और दो का योग चार हो जाता है इसका मतलब अपना आनंद चार गुना बढ़ जाता है धर्म की प्रभावना चार गुना बढ़ जाती है।
आचार्यश्री ने कहा कि एक प्रवचन और एक चर्या में इतना बढ़ा अंतर हो जाता है कि कितना भी बढ़ा वात्सल्य का प्रवचन दिया जाए, लेकिन जहां दो साधु आपस में गले मिल जाते हैं तो सौ प्रवचनों से अधिक खुशी उस मिलन में होती है। मैं सदैव यहीं भावना रखता हूं कि देश राष्ट्र समाज और घर घर में प्रेम बढ़ता रहे और चारों ओर खुशियां फैलती रहे।

विधायक एवं पूर्व विधायक ने समाज के साथ संतों की आगवानी

श्रमण मुनि विहर्ष सागर महाराज, श्रमण मुनि विजयेश सागर महाराज ससंघ का कीर्तिस्तंभ जैन मन्दिर लश्कर रोड से शासन के नियमानुसार नगर में भ्रमण करते हुए चैत्यालय जैन मन्दिर बताशा बाजार में मंगल प्रवेश हुआ। जिसमें विधायक संजीव सिंह कुशवाह, पूर्व विधायक नरेन्द्र सिंह कुशवाह ने सकल जैन समाज के साथ संतों की आगवानी की। इस अवसर पर सुरेन्द्र जैन, रतनलाल जैन, महेन्द्र जैन, विनोद ढोंचरा, सुनील जैन, राकेश जैन, अंकित जैन, निक्कू जैन, दिनेश जैन दीनू, संजीव जैन, अशोक महामाया, पदमचंद जैन, राजेन्द्र जैन, सुरेश जैन, आनंद जैन, पंकज जैन, मुकेश जैन, कमलेश जैन, अमित जैन, मनीष जैन, निशा जैन, गीता जैन, सीमा जैन, अनीता जैन, अल्का जैन, स्नेहलता जैन, सुनीता जैन, संगीता जैन, मीरा जैन, शोभा जैन, मनोरमा जैन आदि लोग उपस्थित थे।