आनंद का प्राकट्य ही श्रीकृष्ण जन्म है : आचार्य भारद्वाज

चतुर्थ दिवस की कथा में धूमधाम से मनाया गया श्रीकृष्ण जन्मोत्सव

भिण्ड, 13 अगस्त। पवित्र श्रावण मास के अवसर पर भागवत धर्मगुरू परिवार एवं शिष्य मण्डल के तत्वावधान में श्रीमद् भागवत की 12वीं कथा बटेश्वर धाम में आयोजित की जा रही है। जिसकी पारीक्षत मां भगवती पावई वाली हैं। चतुर्थ दिवस व्यासपीठ से आचार्य अरविन्द भारद्वाज ने कथा की मीमांसा की। उन्होंने कहा कि बलि को सर्वस्व प्रदान करने भगवान ने वामन अवतार धारण किया। धर्म विग्रह के रूप में राम अवतार धारण किया तथा समस्त ब्रजवासियों को आनंद प्रदान करने भगवान ने आनंद स्वरूप में श्रीकृष्ण अवतार लिया अर्थात आनंद का प्राकट्य ही श्रीकृष्ण जन्म है।