सागर, 05 मार्च। विशेष न्यायाधीश पॉक्सो एक्ट सागर श्रीमती दीपाली शर्मा के न्यायालय ने नाबालिग का शोषण करने वाले आरोपी सुनील साहू पुत्र दामोदर साहू उम्र 30 साल निवासी अंतर्गत थाना मोतीनगर सागर को पॉक्सो एक्ट की धारा 6 के तहत 10 वर्ष के सश्रम कारावास एवं एक हजार रुपण् के अर्थदण्ड तथा एससी/ एसटी एक्ट की धारा 3(2)(अ) के तहत एक वर्ष के सश्रम कारावास एवं 500 रुपए जुर्माने से दण्डित किया है। प्रकरण में विशेष लोक अभियोजक/ सहायक जिला अभियोजन अधिकारी रिपा जैन ने राज्य शासन की ओर से पक्ष रखा।
मीडिया प्रभारी/ सहायक जिला अभियोजन अधिकारी सागर सौरभ डिम्हा के अनुसार घटना का संक्षिप्त विवरण इस प्रकार है कि अभियोक्त्री के पिता ने थाना मोतीनगर में पीडि़ता के गुम होने के संबंध में सूचना दी कि अभियोक्त्री घर से स्कूल का कहकर निकली थी जो लौटकर नहीं आई। उसे शक है कि कोई अज्ञात व्यक्ति उसकी लड़की को बहला फुसलाकर अपने साथ भगा ले गया। जिसकी तलाश की पर नहीं मिली इसलिए रिपोर्ट की गई। उक्त रिपोर्ट के आधार पर थाना मोतीनगर में अज्ञात व्यक्ति के विरुद्ध अपराध पंजीबद्ध किया गया। पीडि़ता के दस्तयाब होने पर दस्तयाबी पंचनामा तैयार किया गया। पीडि़ता द्वारा कथनों में सुनील साहू द्वारा उससे शादी करने के बारे में कहने पर उसके साथ घर से भाग जाने, विभिन्न स्थानों पर जाने, शादी करने व पति-पत्नी जैसे संबंध होना बताए जाने के आधार पर विवेचना प्रारंभ की गई। विवेचना के दौरान नक्शा मौका तैयार किया गया। पीडि़ता का चिकित्सीय परीक्षण कराया गया। विवेचना पूर्ण कर अभियोग पत्र न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया गया। विचारण के दौरान अभियोजन ने अपना मामला संदेह से परे प्रमाणित किया। जिस पर से न्यायालय ने आरोपी सुनील साहू को दोषी पाते हुए पॉक्सो एक्ट की धारा 6 के तहत 10 वर्ष के सश्रम कारावास एवं एक हजार रुपए अर्थदण्ड तथा एससी/ एसटी एक्ट की धारा 3(2)(अ) के तहत एक वर्ष के सश्रम कारावास एवं 500 रुपए जुर्माने से दण्डित करने का आदेश दिया।