भिण्ड, 24 जुलाई। द्वितीय अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश गोहद जिला भिण्ड की अदालत ने फर्जी जमानत देने वाले आरोपी भगवान सिंह उर्फ कल्लू पुत्र मोतीराम उम्र 45 वर्ष निवासी ग्राम बमरौल, थाना सोनागिर, जिला दतिया को धारा 419, 420, 467, 468 एवं 471 भादंवि में सात वर्ष के सश्रम कारावास एवं एक हजार रुपए जुर्माने से दण्डित किया है। प्रकरण का संचालन अपर लोक अभियोजक गोहद दीवान सिंह गुर्जर ने किया।
सहायक मीडिया सेल प्रभारी/अपर लोक अभियोजक गोहद दीवान सिंह गुर्जर ने बताया कि 3 जनवरी 2020 को थाना प्रभारी गोहद में इस आशय का आवेदन पत्र पेश किया गया था कि न्यायालय प्रथम अपर सत्र न्यायाधीश गोहद जिला भिण्ड के मूल सत्र बाद प्रकरण क्र.197/10 मप्र राज्य आरक्षी केन्द्र गोहद विरुद्ध राजवीर आदि में 27 जनवरी 2011 को अभियुक्त पप्पू उर्फ बान सिंह के अनुपस्थित होने से अभियुक्त एवं उसके जमानतदार सुखलाल पुत्र कडोरी निवासी ग्राम बगरौल थाना सोनागिर जिला दतिया के विरुद्ध 31 मार्च 2011 को दर्ज विविध आपराधिक प्रकरण क्र.05/2011 शासन विरुद्ध पप्पू उर्फ बानसिंह एवं अन्य में जमानतदार सुखलाल द्वारा इस आशय का लिखित जवाब पेश किया गया कि उसके द्वारा कभी भी अभियुक्त पप्पू उर्फ बानसिंह की जमानत नहीं दी गई है, बल्कि उसकी भू-अधिकार एवं ऋण पुस्तिका को कहीं से लेकर उसके ही गांव के भगवान सिंह उर्फ कल्लू पुत्र मोतीराम निवासी ग्राम बामरौल थाना सोनागिर जिला दतिया ने अपना फोटो लगाकर उसके नाम से फर्जी जमानत दी है, उक्त संबंध में न्यायालय द्वारा जाच रिपोर्ट तलब किए जाने पर थाना प्रभारी ने इस आशय की जांच रिपोर्ट 24 दिसंबह 2019 को दी थी कि संबंधित उक्त सत्र वाद प्रकरण में 4 अप्रैल 2010 को अभियुक्त पप्पू उर्फ बानसिंह की एक लाख रुपए की फर्जी जमानत भगवान सिंह उर्फ कल्लू पुत्र मोतीराम निवासी ग्राम बमरौल थाना सोनागिर जिला दतिया के रूप में सुखलाल की भू ऋण पुस्तिका के गुम होने पर अपना फोटो घरपा करते हुए सुखलाल के नाम से दी गई है। अत: न्यायालय द्वारा दिए गए आदेश 30 दिसंबह 2019 के अनुसार उक्त संबंध में भगवान सिंह उर्फ कल्लू के विरुद्ध एफआईआर दर्ज कराई जाने के वास्ते लिखित आवेदन दिए जाने हेतु उक्त न्यायालय में पदस्थ प्रवर्तन लिपिक को अधिकृत किए जाने से उसके द्वारा यह लिखित आवेदन पत्र पेश किया जा रहा है, जिसके आधार पर अभियुक्त के विरुद्ध एफआईआर लेखबद्ध की गई, विवेचना के दौरान अभियुक्त को गिरफ्तार किया गया, प्रकरण में दस्तावेज जप्त किए गए। साक्षीगण के कथन लेखबद्ध किए गए तथा शेष विवेचना उपरांत अभियोग पत्र प्रस्तुत किया गया जो उपार्पण उपरांत इस न्यायालय को विचारण हेतु प्राप्त हुआ। न्यायालय अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश गोहद ने अभियोजक द्वारा प्रस्तुत साक्ष्य से सहमत होते हुए अभियुक्त भगवान सिंह उर्फ कल्लू को उपरोक्तानुसार दण्डित किया है।