न्यायालय ने आरोपियों पर पांच-पांच हजार का अर्थदण्ड भी लगाया
भिण्ड, 07 नवम्बर। न्यायालय जिला एवं सत्र न्यायाधीश भिण्ड ने सगे छोटे भाई की हत्या करने वाले भाई एवं उसके साथी को आजीवन कारावास एवं पांच-पांच हजार रुपए के जुर्माने से दण्डित किया। प्रकरण में अभियोजन की ओर से पैरवी लोक अभियोजक जेपी दीक्षित ने की।
लोक अभियोजक जेपी दीक्षित के अनुसार प्रकरण की घटना इस प्रकार है कि 25 जनवरी 2021 को सुबह नौ मृतक लखपत सिंह निवासी ग्राम खेड़ा, थाना ऊमरी में अपने खेत में ट्यूबवेल से पानी दे रहे थे, पास में भतीजा रामू सिंह एवं राघवेन्द्र भी थे, तभी लखपत सिंह के बड़े भाई अभियुक्त विशाल सिंह अपने साथी करू उर्फ गौरव के साथ खेत पर आए और लखपत सिंह से विवाद करने लगे तथा गाली गलौज करने लगे, लखपत सिंह ने गाली देने से मना किया तो अभियुक्त विशाल सिंह जो कुल्हाड़ी लिया था उसने लखपत सिंह को तीन-चार बार कुल्हाड़ी मारी, जिससे उनके सिर व चेहरे में गंभीर चोट आई और वह मौके पर गिर पड़े। मौके पर राघवेन्द्र सिंह एवं रामू सिंह थे, उन्होंने कहा कि ताऊ आपने यह क्या कर दिया तो अभियुक्त विशाल सिंह बोले कि मैंने अपने सगे भाई को मार दिया, तू तो मेरा भतीजा है अगर कुछ कहा तो तुम्हें भी जान से मार दूंगा। साक्षी राघवेन्द्र एवं रामू सिंह लखपत को अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया था। घटना की रिपोर्ट थाना ऊमरी में अपराध क्र.17/2021 धारा 302, 34 आईपीसी के तहत दर्ज की गई। विवेचना के दौरान अभियुक्त विशाल सिंह ने जिस कुल्हाड़ी से लखपत सिंह की हत्या की थी वह कुल्हाड़ी और उसके कपड़े जब्त किए गए, गवाहों के कथन लिए गए। तत्पश्चात अभियोग पत्र न्यायालय में प्रस्तुत किया गया। जो सत्र न्यायाधीश भिण्ड के यहां क्र.110/2021 सत्रवाद पर दर्ज किया जाकर आरोप पत्र लगाए गए। तत्पश्चात विचारण के दौरान मौके के साक्षी मृतक के भतीजे रामूसिंह एवं राघवेन्द्र सिंह के कथन लिए गए तथा मृतक के पुत्र और उर्फ गौतम सिंह का कथन लेख किया गया। जिसमें उसने बताया कि घटना के एक दिन पहले राहुल, विशाल सिंह मेरे घर आए थे और मेरे पिता से कहा था कि 15 हजार रुपए आवपासी के दे देना, नहीं अच्छा नहीं होगा, उसका परिणाम देखना। इसी बात पर सगे बड़े भाई विशाल सिंह ने छोटे भाई लखपत सिंह की कुल्हाड़ी मारकर अपने साथी करू उर्फ गौरव के साथ मिलकर नृशंस हत्या कर दी। यह अपराध कुछ थोड़े से रुपए के लिए किया गया, यह देखकर प्रकरण में हुए चश्मदीद साक्षी एवं पुलिस के संपूर्ण साक्ष्य के आधार पर न्यायालय द्वारा आरोपी विशाल सिंह के विरुद्ध धारा 302 आईपीसी एवं अवैध रूप गौरव सिंह के विरुद्ध धारा 302 व 34 आईपीसी का अपराध सिद्ध पाए जाने पर उक्त अपराध में आजीवन कारावास एवं पांच-पांच हजार रुपए जुर्माने से दण्डित किया है।