नाबालिगा से यौन शोषण के मामले में प्यारे मियां एवं मो. आवेश को प्राकृतिक जीवन तक कारावास

अपराध में सहयोगी स्वीटी विश्वकर्मा को 20 वर्ष एवं गर्भपात कराने के लिए डॉ. हेमंत मित्तल को पांच वर्ष का कठोर कारावास

भोपाल, 07 मार्च। विशेष न्यायाधीश पॉक्सो एक्ट जिला भोपाल श्रीमती कविता वर्मा के न्यायालय ने सोमवार को अपने फैंसले में नाबालिग का यौन शोषण करने वाले आरोपीगण को प्यारे मियां एवं मोहम्मद आवेश को प्राकृतिक जीवन तक का कारावास एवं जुर्माना, आरोपिया स्वीटी विश्वकर्मा को यौन शोषण में सहयोग एवं गर्भपात कराने 20 वर्ष का कारावास एवं जुर्माना, डॉ. हेमंत को गर्भपात करने के लिए पांच वर्ष का कारावास एवं जुर्माना से दण्डित किया है। यह सजा भादंवि एवं पॉक्सो एक्ट की विभिन्न धाराओं में दी गई है। प्रकरण में पैरवी विशेष लोक अभियोजक पीएन सिंह राजपूत ने की।
जनसंपर्क अधिकारी भोपाल संभाग मनोज त्रिपाठी ने बताया कि थाना कोहेफिजा पुलिस ने थाने में दर्ज अपराध क्र.444/20 अंतर्गत धारा 376, 376(2)(एन), 376(2-आई), 376(2-च), धारा 342, 506 भादंवि तथा लैगिंक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 की धारा 5(एल), 5(एन) तथा 6 के प्रकरण में मुख्य आरोपी प्यारे मिया को एक अगस्त 2020 (कुल पांच) दिवस की पुलिस अभिरक्षा की मांग की गई, जिसमें न्यायालय द्वारा आरोपी प्यारे मियां की पुलिस अभिरक्षा 30 जुलाई 2020 की दोपहर तक थाना कोहेुफिजा को दी गई। उल्लेखनीय है थाना कोहेफिजा द्वारा अपने यहां दर्ज प्रकरण के संबंध में यह बताया गया कि आरोपीगण द्वारा विगत तीन वर्षों से प्रकरण की पीडि़ता का यौन शोषण किया जा रहा था, पीडि़ता द्वारा विरोध करने पर पीडि़ता सहित परिवारजनों को आरोपीगण जान से मारने की धमकी देते थे। कोहेफिजा थाना पुलिस द्वारा अपराध क्र.444/20 अंतर्गत धारा 376, 376(2)(एन), 376(2-आई), 376(2-च), धारा 342, 506 भादंवि तथा लैगिंक अपराधों से बालको का संरक्षण अधिनियम 2012 की धारा 5(एल), 5(एन) तथा 6 के प्रकरण दर्ज किया गया था, पीडि़त का गर्भपात भी कराया गया था, जिस पर चिकित्सीय गर्भ समापन अधिनियम की धारा 4 एवं 5 बढ़ाई गई थी।