सागर, 20 जून। अष्टम अपर-सत्र न्यायाधीश जिला सागर अब्दुल्लाह अहमद के न्यायालय ने शादी का झांसा देकर दुष्कर्म करने वाले आरोपी साजिद उर्फ सज्जू मंसूरी को दोषी करार देते हुए धारा 376(2)(एन) भादंवि के तहत 10 वर्ष कठोर कारावास एवं एक हजार रुपए जुर्माने की सजा से दण्डित किया है। मामले की पैरवी अपर लोक अभियोजक रामबाबू रावत ने की।
जिला लोक अभियोजन सागर के मीडिया प्रभारी के अनुसार घटना का संक्षिप्त विवरण इस प्रकार है कि पीडि़ता ने 26 अप्रैल 2019 को थाना राहतगढ़ में रिपोर्ट लेख कराई कि वह अपने मायके में अपने पिता, छोटी व बड़ी बहिन के साथ रहती है। वर्ष 2018 के अगस्त माह में आरोपी उसके घर दिन में लगभग 10 से 11 बजे के बीच आया, उस समय घर पर कोई नहीं था और बोला कि पानी पिला दो, तो अभियोक्त्री पानी लेने के लिए अंदर गई, उसी समय आरोपी उसके पीछे-पीछे घर के अंदर आया और उसके साथ जबरदस्ती बुरा काम किया तथा कहने लगा कि यदि किसी से कहा या रिपोर्ट की तो जान से मार देगा एवं कहा कि उसने वीडियो बना लिया है, सभी को बताकर बदनाम कर देगा। घटना के करीब चार-पांच दिन बाद आरोपी रात्रि के समय पुन: आया और अपनी गलती मानी तथा कहने लगा कि उससे गलती हो गई है तथा शादी करने का आश्वासन दिया और कहा कि वह अब उसकी पत्नी है, तब अभियोक्त्री उसकी बातों में आ गई। उसके बाद आरोपी उसके साथ गलत काम करता रहा। इसी बीच उसे गर्भ ठहर गया तब आरोपी से उसने कहा कि निकाह कर लो, तब आरोपी ने अभियोक्त्री के साथ निकाह करने से मना कर दिया। उक्त रिपोर्ट के आधार पर थाने पर प्रकरण पंजीबद्ध कर मामला विवेचना में लिया गया, विवेचना के दौरान साक्षियों के कथन लेख किए गए, घटना स्थल का नक्शा मौका तैयार किया गया, अन्य महत्वपूर्ण साक्ष्य एकत्रित कर थाना राहतगढ़ पुलिस ने धारा 376, 450, 506 भाग-दो का अपराध आरोपी के विरुद्ध दर्ज कर विवेचना उपरांत चालान न्यायालय में पेश किया। जहां विचारण उपरांत अष्टम अपर-सत्र न्यायाधीश अब्दुल्लाह अहमद के न्यायालय ने आरोपी को दोषी करार देते हुए उपर्युक्त सजा से दण्डित किया है।