वगैर टेक्सी परमिट अनुबंधित वाहन का उपयोग कर शासन को पहुंचा रहे राजस्व की हानि
भिण्ड, 22 दिसम्बर। गोहद जनपद अंतर्गत सरकारी विभागों में पदस्थ कई अधिकारी-कर्मचारी मुख्यालय पर नहीं रुकते हैं, बल्कि रोजाना अपडाउन करते हैं। इस वजह से समय पर कार्यालय नहीं पहुंचने से वहां आने वाले ग्रामीण हितग्राहियों को काफी परेशान होना पड़ता है, कुछ अधिकारी तो ऐसे हैं जो ग्वालियर स्थित निवास से ही अपने कामकाज निपटाते हैं, जब मर्जी होती है तभी मुख्यालय आते हैं।
गौरतलब है कि गोहद जनपद में पदस्थ उपयंत्री आशुतोष श्रीवास्तव सहित कई अधिकारी मुख्यालय पर न रुकते हुए रोजाना ग्वालियर या अन्य स्थान से अपडाउन करते हैं, उपयंत्री श्रीवास्तव तो अपने निवास ग्वालियर से ही अपडाउन करते हैं, जबकि त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के मद्देनजर आचार संहिता लगी है, ऐसे में निर्वाचन आयोग का अधिकारियों-कर्मचारियों का मुख्यालय न छोडऩे का आदेश रहता है, मगर इसके बावजूद उपयंत्री आशुतोष श्रीवास्तव का मुख्यालय पर न रुकना आचार संहिता का खुलेआम उल्लंघन है।
उपयंत्री श्रीवास्तव का वाहन भी बगैर टेक्सी परमिट
उपयंत्री गोहद आशुतोष श्रीवास्तव विभाग में जिस वाहन का उपयोग करते हैं उसका टैक्सी परमिट भी नहीं है। इसके अलावा कई विभागों में इस प्रकार नियमों को अनदेखा कर वाहनों को अटैच किया गया है। ऐसे में अब अधिकारियों की कार्यशैली पर सवाल उठ रहे हैं, इस तरह बिना टेक्सी परमिट वाहन का अनुबंध कर शासन को लाखों रुपए के राजस्व की हानि पहुंचाई जा रही है।
सवारी के हिसाब से करना होता है टैक्स जमा
वाहन की पहचान टैक्सी और निजी वाहनों में अंतर के लिए परिवहन विभाग ने इनकी नंबर प्लेटों को अलग-अलग दिया है। निजी वाहन पर सफेद प्लेट पर काले रंग से नंबर लिखे होते हैं जबकि टैक्सी वाहनों पर नंबर प्लेट पीली रंगी होती है। चार पहिया वाहनों का टैक्सी परमिट में रजिस्ट्रेशन कराने के लिए करीब 700 रुपए प्रति यात्री के हिसाब से तिमाही या वार्षिक फीस जमा करना होता है। इससे परिवहन विभाग को एक वाहन से करीब पांच हजार रुपए तक तिमाही राजस्व प्राप्त होता है। लेकिन यह सब न होने से राजस्व में हानि हो रही है। विभागों के इस तरह से गाडिय़ों को किराए पर चलवाने से परिवहन विभाग को राजस्व का नुकसान जरूर होता है, लेकिन अधिकारियों की उपेक्षा के चलते इन गाड़ी संचालकों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हो रही है।
इनका कहना है-
मैंने अनुभाग के सभी अधिकारियों व कर्मचारियों को मुख्यालय पर रुकने का आदेश निकाला था, फिर भी कोई अपडाउन करता है तो उस पर कार्यवाही की जाएगी। अगर वाहन विभाग में अनुबंधित नहीं है तथा निजी वाहन है तो उस पर मप्र शासन लिखना गलत है मैं जानकारी लेता हूं।
शुभम शर्मा, एसडीएम गोहद
जनपद पंचायत गोहद में एक भी अनुबंधित वाहन नहीं लगा है, कर्मचारियों व अधिकारियों के अपडाउन को मैं दिखवाता हूं।
दिनेश शाक्य, जनपद सीईओ गोहद