भिण्ड, 28 जनवरी। मप्र में भले ही भाजपा की सरकार है, लेकिन गोहद नगर पालिका में कांग्रेस की सरकार है। यहां कांग्रेस समर्थित अध्यक्ष है और निर्दलीय पार्षदों के सहयोग से सत्ता में हैं। लेकिन धीरे-धीरे समय गुजरा तो इनमें दूरियां पैदा होने लगीं, अब हालात ऐसे निर्मित हो गए हैं कि नगर पालिका उपाध्यक्ष सुनील कुमार उर्फ सिक्की कांकर ने अध्यक्ष मंजू माहौर एव सीएमओ पर नगर पालिका अधिनियम के विपरीत कार्य करने के गंभीर आरोप लगाते हुए प्रमुख सचिव सचिव नगरीय प्रशासन, आयुक्त, सयुक्त संचालक, जिला कलेक्टर एवं एसडीएम को भेजे पत्र में जांच की मांग की है।
अध्यक्ष एवं सीएमओ नगर पालिका परिषद गोहद द्वारा मनमाने रूप से नियम विरुद्ध नगर पलिका का संचालन कर किए जा रहे अवैध कार्य व भ्रष्टाचार की जांच की जाए, अध्यक्ष व सीएमओ कुछ कर्मचारी तथा परिषद के कुछ सदस्य आपस में मिलकर दुरभिसंधि कर नियम व कानून के विरुद्ध अवैधानिक व मनमाने रूप से नगर पालिका विधान के विपरीत नगर पालिका का संचालन कर संगठित रूप से नगर पालिका की शासकीय जनहित की निधि लूटकर भ्रष्टाचार किण् जा रहे हैं। साधारण सभा की मीटिंग एक औपचारिक प्रक्रिया बनकर रह गई है, मीटिंग के पूर्व प्रसारित ऐजेन्डा भी समय से नियमानुसार प्रसारित नहीं किया जा रहा है। ऐजेंडा के प्रसारित हो जाने के बाद भी कभी भी किसी भी प्रकरण को ऐजेन्डा से बिना किसी प्रकिया व सहमति के नियम विरुद्ध बिना किसी कारण के हटा दिया जाता है।
यहां यह उल्लेखनीय है कि प्रसारित ऐजेंडा में इतने अधिकतम बिन्दु रख लिये जाते हैं कि जिन पर मीटिंग की समय अवधि में सभी बिन्दुओं पर चर्चा किसी भी स्थिति में सम्भव ही नहीं हैं ऐसी स्थिति में बिना किसी चर्चा व विचार के कार्रवाई पूर्ण कर ली जाती है। मीटिंग के दौरान प्रसारित ऐजेन्डा में वर्णित प्रकरण व विषय वस्तु से संबंधित कोई भी फाईल समक्ष में नहीं रखी तक कि विषय वस्तु से संबंधित अधिकांश फाईले तो संधारित ही नहीं की जाती है। ना ही किसी फाई का कोई अवलोकन किया व कराया जाता है तथा स्वीकृत व अस्वीकृत संकल्प व अगामी मीटिंग में रखे जाने तथा अन्य लिए गए संकल्पों को यथा समय ना तो लिखा जाता है और ना ही उनका अवलोकन कराया जाता है। संकल्प रजिस्टर में प्रोसिडिंग अध्यक्ष व सीएमओ द्वारा मनमाने व गोपनीय रूप से वादको कार्यालयीन समय समाप्त हो जाने के बाद तथा छुट्टी के दिन संबंधित लिपिक को अपने निवास स्थान पर बुलाकर मनमाफिक प्रोसिडिंग की कार्रवाई की जाती है। कभी-कभी ऐजेंडा में जो विषयवस्तु वर्णित है, उसके अलावा भी भ्रमित करते हुए अन्य विषय वस्तु सम्मिलित करते हुए संकल्प पारित करने की प्रोसिडिंग अनुचित लाभ लेने की नियत से लिख ली जाती है। प्रोसिडिंग रजिस्टर को लिखे जाने के बाद अवलोकन न कराए जाने से जानकारी भी नहीं मिल पाती है। दौराने मीटिंग की गई आपत्तियों व किए गए निराकरण के बावत कोई भी उल्लेख संकल्प रजिस्टर में नहीं किया जाता है, आपत्ति उठाने वाले के विरूद्ध झूठे अपराध पंजीबद्ध करा दिए जाते हैं, व समितियों से भी बाहर कर दिया जाता है तथा उनके वाडों में कोई भी जनहित के कार्य नहीं कराए जाते हैं।
संकल्प रजिस्टर में प्रोसिडिंग लिखे जाते समय अधिकांश कार्यों के लिए मनमाने रूप से मुख्य नगर पालिका अधिकारी को आगामी कार्य हेतु पूर्ण रूप से अधिकृत किए जोन संबंधी उल्लेख कर दिया जाता है ताकि सीएमओ मनमाने रूप से कार्य कर सकें, जबकि तत संबंध में मीटिंग के दौरान सीएमओ को अधिकृत किए जाने संबंधी कोई निर्णय ही नहीं लिया गया था। तत्संबंध में जानकारी प्रोसिडिंग रजिस्टर की प्रमाणित प्रतिलिपि प्राप्त करने पर हुई है। मीटिंग के दौरान जिन ठेकेदारों द्वारा टेण्डर स्वीकृत हो जाने के बाद समय से अनुबंध नहीं किए गए तथा जिनके द्वारा अनुबंध के बाद भी लम्बी अविध तक कार्य प्रारंभ नहीं किया गया है। उनके संबंध में टेण्डर निरस्त किए जाने व उन्हें ब्लैक लिस्ट किए जाने तथा 15 दिवस में समीक्षा बैठक रखे जाने का संकल्प सर्वसम्मिति से पारित हो जाने के बाद भी संबंधित ठेकेदारों को न तो सूचीबद्ध ब्लैक लिस्ट किया जाता है और ना ही समीक्षा बैठक बुलाई जाती है तथा अनुचित लाभ प्राप्त कर आगामी टेण्डर प्रकिया में सम्मिलित होने से रोका भी नहीं जाता है, जिससे नगरपालिका गोहद के जनहित के कार्य प्रभावित हो रहे हैं।
यहां यह भी देखा गया है कि किसी कार्य को प्रक्रिया का पालन किए बिना तथा परिषद के कार्य हेतु स्वीकृत प्राप्त किए जाने के पूर्व ही टैण्डर भी आहूत कर लिए जाते रहे हैं, जब तत संबंध में परिषद से संकल्प पारित नहीं हो पाता है, तब प्रोसिडिंग रजिस्टर में मनमाने रूप से निरस्त किए जाने की कार्रवाई का बिना जानकारी के गोपनीय रूप से कर लिया जाता है। अध्यक्ष व सीएमओ कार्यालीन समय में नगर पालिका परिषद के कार्यालय में जन सामान्य या किसी भी कार्य के लिए उपलब्ध ही नहीं रहते हैं, कार्यालीन समय समाप्त हो जाने के उपरांत शाम 6 बजे के बाद कार्यालय में आकर गोपनीय व मनमाने रूप से मनमाफिक कार्य करते हैं। यहां तक कार्यालीन फाईलें कभी-कभी निज-निवास पर मंगाकर अवैध रूप से कार्य किए जाते हैं। उक्त लोगों के उपरोक्त कृत्य से जन सामान्य परेशान है। उपरोक्त समस्त कार्रवाई का अवलोकन परिसर में लगे सीसीटीव्ही फुटेज का अवलोकन कर वास्तविकता ज्ञात की जा सकती है। नगर पालिका परिषद गोहद में परिषद की जनरल मीटिंग वरिष्ठ राजस्व अधिकारी की उपस्थिति में संपन्न कराई जाकर तत्काल समस्त कार्रवाईयों वैधानिकता के साथ संपन्न कराई जाने हेतु आदेश पारित कर नगर पालिका परिषद् में व्याप्त भ्रष्टाचार की जांच की जाए।