अवयस्क बालिका के साथ गलत काम करने वाले आरोपी की जमानत निरस्त

विदिशा, 12 नवम्बर। द्वितीय अपर सत्र न्यायाधीश/विशेष न्यायाधीश पॉक्सो विदिशा सुश्री प्रतिष्ठा अवस्थी के न्यायालय ने अवयस्क बालिका के साथ गलत काम करने वाले आरोपी नीतेश अहिरवार पुत्र लखनलाल अहिरवार को भादवि की धारा 363, 366, 376(2)(एन) भादवि एवं लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम की धारा 5एल/6 मेें जमानत निरस्त की गई। उक्त मामले में विशेष लोक अभियोजक श्रीमती प्रतिभा गौतम ने जमानत याचिका पर अपराध की गंभीरता के आधार पर कड़ा विरोध किया।
अभियोजन मीडिया सेल प्रभारी जिला विदिशा सुश्री गार्गी झा के अनुसार घटना संक्षिप्त में इस प्रकार है कि आरोपी नीतेश अहिरवार ने 18 वर्ष से कम आयु की अवयस्क अभियोक्त्री का व्यपहरण कर उसके साथ बार-बार गलत काम किया। महिलाओं को एवं बालिकाओं के प्रति बढ़ते हुए यौन अपराधों को देखते हुए ऐसे मामलों में भी आरोपी को जमानत का लाभ दिया गया तो उससे इस तरह के अपराधों की पुनरावृत्ति होना संभव है। बचाव पक्ष के अधिवक्ता ने आरोपी की ओर से जमानत आवेदन न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया था, जिसे न्यायालय ने आरोपी के कृत्य की गंभीरता एवं प्रकरण की परिस्थितियों एवं महिलाओं के प्रति बढ़ते हुए यौन अपराधों को देखते हुए आरोपी नीतेश अहिरवार का जमानत आवेदन निरस्त कर दिया है।