भिण्ड, 01 फरवरी। मप्र मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के कार्यक्षेत्र चंबल संभाग के जिलों में उपभोक्ताओं की सुविधा के लिए बिजली बिल अब डिजिलॉकर के माध्यम से भी उपलब्धं कराए जा रहे हैं। यह जानकारी मप्र मध्य क्षेत्र विवि कंपनी भिण्ड के महाप्रबंधक ने दी है।
गौरतलब है कि डिजिलॉकर डिजिटल इंडिया के तहत भारत सरकार का प्रमुख कार्यक्रम है। डिजिलॉकर उपभोक्ताओं को सार्वजनिक क्लाउड पर सुरक्षित दस्तावेज एक्सेस प्लेटफॉर्म प्रदान करता है। ये डिजिटल दस्तावेज भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम 2000 के तहत कानूनी रूप से मान्य दस्तावेज हैं। इसके अलावा, सूचना प्रौद्योगिकी डिजिटल लॉकर सुविधाएं प्रदान करने वाले मध्यस्थों द्वारा सूचना का संरक्षण और प्रतिधारण नियम, 2016 के नियम 9 ए के तहत डिजिटल लॉकर के माध्यम से उपलब्ध जारी किए गए दस्तावेजों को मूल फिजिकल दस्तावेजों के बराबर माना जाता है। कंपनी ने कहा है कि डिजिलॉकर मप्र के बिजली उपभोक्ताओं तक बिजली बिलों को पहुंचाकर उन्हें संग्रहित करने का एक सुरक्षित, सुविधाजनक और पेपरलेस तरीका है। उपभोक्ता नीचे दी गई लिंक से इसे किसी भी एंड्राइड या आई फोन से डाउनलोड कर सकते हैं।
बिजली बिलों तक पहुंचने के लिए डिजिलॉकर के लाभ
कंपनी ने कहा है कि डिजिलॉकर के माध्यम से एक ओर जहां बिजली बिलों तक पहुंचना आसान होगा, वहीं कागजी बिल के स्थािन पर उपभोक्ता अपने बिलों को यहां संग्रहित भी कर सकते हैं। क्योंकि डिजिलॉकर एक सुरक्षित तरीका है जो बिजली बिल जैसे महत्वपूर्ण दस्तावेज को नुकसान, क्षति, चोरी अथवा इसके खोने से बचाता है। डिजिलॉकर में संग्रहीत बिलों को आसानी से अन्य संस्थाओं जैसे, बैंक, वित्तीय संस्थान या सरकारी एजेंसियां के साथ साझा किया जा सकता है। यदि कोई उपभोक्ता अपना कागजी बिल खो देता है या उसे पिछले बिल को देखना जरूरी है, तो डिजिलॉकर द्वारा आसानी से प्राप्त किया जा सकता है। इसके अलावा डुप्लिकेट बिल या नया बिल हासिल करना है तो उपभोक्ता अपनी सुविधानुसार सीधे डिजिलॉकर से अपने बिजली बिल को डाउनलोड कर सकते हैं।