विक्रम वुलन कंपनी के प्रबंधक एवं परिजनों के बीच हुआ लिखित समझौता
भिण्ड, 02 मार्च। औद्योगिक क्षेत्र मालनपुर की उद्योग इकाई विक्रम बुलन में कर्मचारी दिनेश सिंह की 31 मार्च शुक्रवार को कैन्टीन से खाना खाकर वापस जाते समय पैर फिसल जाने से हुई मौत गोहद से पीएम कराने के बाद परिजन एवं सहयोगी ने विक्रम बुलन कंपनी के गेट पर गत रात्रि 7:30 पर मृतक के परिवार को राहत राशि मुआवजा प्रदान कराने हेतु शव को रख दिया। प्रबंधकों तो पूर्व में ही अभास हो गया था इसलिए स्थानीय पुलिस थाना मालनपुर को सुरक्षा हेतु बुला लिया था।
कंपनी के गेट पर शव को रखे रात्रि के 12 बजे चुके थे। प्रबंधक और परिजनों के साथ आए यूनियन पदाधिकारियों ने 30 लाख की सहायता राशि की मांग थी। प्रबंधक ने पांच लाख की राशि कंपनी की तरफ से देना स्वीकार किया, जिस पर परिजन राजी नहीं हुए। कर्मचारी एकता के नारे लगते रहे थे। उसके देर रात्रि गोहद एसडीएम शुभम शर्मा एवं एसडीओपी सौरभ कुमार पुलिस बल के साथ कंपनी में पहुंचे, सबकी रजामंदी से सात लाख रुपए जो सात दिन के अंदर खाते में या चेक द्वारा देने का वादा लिखित पत्र द्वारा किया एवं अन्य सुविधाएं जो नियमों से बनेंगी, वह भी देने का आश्वासन दिया तब मृतक के परिजनों का आक्रोश शांत हुआ। देर रात्रि शव को परिजन कंपनी के गेट से अपने गांव ले गए।
मृतक के भाई अल्पेश सिंह यादव ने बताया मेरे भाई दिनेश सिंह की शुक्रवार को मृत्यु हो गई थी। जो एक किराए के मकान में रहकर इस कंपनी में 20 से 25 साल से काम करके अपने परिवार का भरण पोषण कर रहा था। उसके परिवार के भरण-पोषण के लिए कंपनी की तरफ से सहायता राशि की मांग की गई थी।
कराया जाता है जबरन ओवर टाइम
मृतक के साथी श्रमिकों ने बताया कि कंपनी प्रबंधन द्वारा जबरन ओवर टाइम कराया जाता है। 16-16 घण्टे ओवर टाइम में जबरन रोका जाता है। मृतक श्रमिक ने भी मार्च माह में 11 ओवर टाइम किए हैं। एक श्रमिक ने बताया कि ओवर टाइम के कारण सही से नींद नहीं ले पाते हैं। इस कारण काम करते समय नींद के झटके और सिर चकराता रहता है ओवर टाइम न करने की कहने पर प्रबंधन द्वारा नौकरी से निकाल दिए जाने की धमकी दी जाती है।