मां वीणा वादिनी के वरद पुत्र कहे जाने वाले कवि, पत्रकार, साहित्यकारों की ओर से अशोक सोनी ‘निडर’ की कलम से मां के चरणों में चंद शब्द पुष्प सादर
मां की आराधना कर रहे आज हम, शब्द की साधना कर रहे आज हम।
ऐसा आशीष देना हमें मां मेरी, लिख सकें इस कलम से सही बात हम।।
मां चलो साथ मेरे कदम दर कदम,तेरी सेवा में निकले हमारा ये दम।
सबके सर पर तेरा मां वरद हस्त हो,मां ये हर लो हमारे सभी रंजो गम।।
मां दलित शोषितों पर चले ये कलम, देश के दीन हीनों में भर दे अमन।
सबका कल्याण हो मां कृपा बख्श दे,मां ये फूले फले शब्द सुर का चमन।।
मां सरस्वती के बेटे हम सब मां का वंदन करते हैं,शब्द पुष्प चरणों में चढ़ाकर हम अभिनंदन करते हैं।
इतनी शक्ति हमें दो माता फर्ज हम अपना निभा सकें,सच्चाई पर कलम चलाकर न्याय सभी को दिला सकें।।
कलम की ताकत बहुत बड़ी है वार ह्रदय पर करती है, भ्रष्टाचारी नेता अफसर नहीं किसी से डरती है।
शब्द वाण का भेदन करते शब्द साधना करते हैं,शब्द पुष्प चरणों में चढ़ाकर हम अभिनंदन करते हैं।।
अपनी वीणा के तारों से मन झंकृत कर देना मां, सदराहों पर चलें हमेशा एक यही वर देना मां।
मानवता के बनें पुजारी यही कामना करते हैं, शब्दपुष्प चरणों में चढ़ाकर हम अभिनंदन करते हैं।।