लहार नगर पालिका वरिष्ठ अधिकारियों को अंधेरे में रख कर आश्रम तोडऩा चाहती है : संतोष चौहान

ब्रह्माकुमारी आश्रम टूटने के विरोध मे अनशन पर पंचम सिंह, प्रशासन नहीं ले रहा सुध

भिण्ड, 03 मार्च। जिले की नगर पालिका परिषद लहार की दबंगई और वास्तविक तथ्यों से वरिष्ठ अधिकारियों को अंधेरे में रख कर नियम विरुद्ध कार्रवाई करके आमजन को प्रताडि़त करने का सिलसिला रुकने का नाम नहीं ले रहा है। अभी होकर्स जोन का विवाद शांत नहीं भी हुआ था कि नगर पालिका लहार ने नियम विरुद्ध तरीके से ब्रह्माकुमारी आश्रम शाखा लहार के संचालक पूर्व दस्यु सम्राट पंचम सिंह चौहान को नोटिस जारी कर दिया।
नोटिस में उल्लेख किया गया कि दुकान नं.184 जो पुरानी नगर पालिका के पास स्थित है, पंचम सिंह चौहान के नाम दर्ज है, जिसको स्थानांतरित किया जाना है, लेकिन मोके पर वने तीन मंजिला भवन और उसमें संचालित ब्रह्माकुमारी आश्रम को नगर पालिका रिकार्ड से गायब कर दिया गया है। लहार सीएमओ महेश पुरोहित द्वारा बताया जा रहा है कि जो दुकान पंचम सिंह के नाम दर्ज है, उसमें ब्रह्माकुमारी आश्रम चलता है, उक्त दुकान पंचम सिंह को नगर पालिका द्वारा एक रुपय किराय पर दी गई है, दूसरी ओर 28 अगस्त 1982 में लहार न्यायालय में लिखे गए अनुबंध में तीन मंजिला भवन का नक्शा और शर्तों का उल्लेख है, जिसमें भवन की नीचे की मंजिल में स्थित दुकान का किरायदार नियुक्त करने का अधिकार नगर पालिका को है, शर्त के आधार पर आधा किराया नगर पालिका लेगी और आधा किराया संस्था के संचालक को देगी। संस्था संचालित रहने तक हर माह एक रुपए अनुदान भी नगर पालिका संस्था को देगी, भवन के टूट-फूट एवं जर्जर होने की स्थिति में भवन की मरम्मत करवाने का दायित्व भी नगर पालिका का रहेगा।
अब सवाल उठाता है कि 28 अगस्त 1982 को लहार न्यायालय में नगर पालिका लहार की सहमती से लिखा गया अनुबंध नगर पालिका के रिकार्ड में से कहां गायब हो गया या जान-बूझकर प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारियों को अंधेरे में रख कर आश्रम को तोडऩे का षडय़ंत्र रचा जा रहा है।

आमरण अनशन पर पंचम सिंह, किसी अधिकारी ने नहीं किया संपर्क

आश्रम टूटने की बात सुनकर पूर्व दस्यु सम्राट पंचम सिंह चौहान को आघात लगा है और उन्होंने अन्न त्याग कर आमरण अनशन शुरू कर दिया है। लेकिन प्रशासन के किसी वरिष्ठ अधिकारी ने पंचम सिंह की व्यथा सुनना या उनसे संपर्क करना उचित नहीं समझा। पंचम सिंह का कहना है कि यदि मेरे जीते-जी मेरा आस्था का केन्द्र ब्रह्माकुमारी आश्रम टूटा तो मैं अपने प्राण त्याग दूंगा।

सुनियोजित तरीके से आश्रय के भवन को गिराए जाने की है संभावना

पंचम सिंह के राष्ट्रपति द्वारा सम्मानित गौरक्षक बेटे संतोष चौहान ने कहा कि नगर पालिका परिषद लहार की ब्रह्माकुमारी आश्रम गीता पाठशाला को हटाने की कार्रवाई मुझे संदिग्ध नजर आ रही है और मुझे आंशका है कि नगर पालिका लहार ब्रह्माकुमारी के भवन से सटी अन्य दुकानों के हटाने की कार्रवाई में सुनियोजित तरीके से ब्रह्माकुमारी आश्रम के भवन को गिरा सकती है और बाद में भवन जीर्ण शीर्ण था जो खुद गिर गया ऐसा बता सकती है। हालांकि पंचम सिंह चौहान ने आश्रम से लगी दुकानों की डिस्मेंटल की कार्रवाई से पूर्व आश्रम के भवन की सुरक्षा के संबंध में लहार नगर पालिका एवं एसडीएम को आवेदन देकर अवगत करा दिया है।

गीता पाठशाला के भवन में दुकान एक और दो लोगों को दिए नोटिस

लहार नगर परिषद ने पंचम सिंह चौहान के नाम दर्ज दुकान नं.184 का हवाला देकर नोटिस जारी किया है, उसी दुकान के संबंध में एक नोटिस पंचु अग्रवाल को नाम भी दिया गया है, जिसमें दुकान नं.183 बताया गया है और आश्रम के भवन की नीचे की मंजिल में स्थित दुकान में वर्तमान में पंचु अग्रवाल की कपड़े की दुकान संचालित है। अनुबंध 28 अगस्त 1982 के दस्तावेज के नक्शे में भी आश्रम के भवन की नीचे की मंजिल में एक दुकान और बगल से गैलरी, एक कमरा, दुकान की दूसरी साइड भवन के ऊपर जाने का झीना दर्शाया गया है, फिर एक दुकान के दो मालिक और दो नंबर कैसे हो गए, यह भी जांच का विषय है।

पचम सिंह की जमीन पर कब्जा करने का लम्बे समय से प्रयास कर रही है नगर पालिका

लहार नगर पालिका पिछले कई वर्षों से पंचम सिंह को शासन से दस्यु पुनर्वास योजना के तहत मिलीं जमीन पर षडय़ंत्र पूर्वक कब्जा करने का प्रयास करती आ रही है। सन 1996 में पचम सिंह की जमीन के रोड किनारे के भाग पर जबरन हजारों पेड़ काट कर कब्जा कर नगर पालिका ने दुकानों का निर्माण करवा दिया था, जिसका विरोध पंचम सिंह के बेटे संतोष चौहान ने किया तो संतोष को पुलिस रिकार्ड में तीन हत्या एवं हत्या के प्रयास आदि के 35 मुकद्दमे दर्ज कर 40 हजार का इनामी बदमाश घोषित करवा दिया गया। पुलिस से बचने के लिए संतोष चौहान गांधी वादी विचारक डॉ. एसएन सुब्बाराव की शरण में चले गए, जिन्होंने संतोष की जीवन रक्षा की। सन 2017 में फिर एक बार नगर पालिका लहार द्वारा पंचम सिंह की जमीन पर दुकानें बनाने की योजना के तहत नगर पालिका ने नियम विरुद्ध तरीके से पचम सिंह की जमीन के हजारों पेड़ कटवा दिए, लेकिन पचम सिंह के बेटे संतोष चौहान ने बंदूक उठाकर विरोध किया तो नगर पालिका की योजना सफल नहीं हो पाई। अब देखते हैं कि समर्पण के बाद पंचम सिंह और उनके परिवार की हर तरह से मदद करने का वचन देने वाली भारत सरकार लहार नगर पालिका पर कार्रवाई करके पंचम सिंह की साहयता करती है या नहीं।