-मन्दिर की जमीन से अतिक्रमण हटाने साल 93 से कानूनी लडाई लड रहा है पुजारी
भिण्ड, 08 जनवरी। प्रथम व्यवहार न्यायालय गोहद से 6 अगस्त 2024 को रामजानकी मन्दिर की सर्वे क्र.977/1, 977/2 भूमि के मामले में मन्दिर पुजारी के पक्ष में निर्णय दिया और स्थानीय प्रशासन को अतिक्रमण हटाने का आदेश के पालन में मो रोड स्थित अब्दुलपुरा पहुची और न्यायालय का सम्मान रख वापस लौट आयी।
गोहद में मौ रोड पर रामजानकी मन्दिर स्थित है, इस मंदिर को मंगल पुत्र शीतल प्रसाद शुक्ला ने लगभग 21/2 बीघा जमीन मन्दिर को दान देकर कलेक्टर को अध्यक्ष बनाया, जिससे जमीन की देखरेख होकर सुरक्षित रहे लेकिन समय गुजरा तो मन्दिर की जगह अतिक्रमण की चपेट में आती गई। मंगल शुक्ला के परिजनों ने सन् 1993 से मन्दिर की जमीन को अतिक्रमण से मुक्त कराने के लिए न्याय की गुहार लगाते हुए एसडीएम, कलेक्टर एवं कमिश्नर की दहलीज पर दस्तक दी। समय गुजरता गया लेकिन न्याय नहीं मिला, उल्टे मन्दिर के पुजारी को जान से मारने की धमकी तक मिल गई। एक तरफ मन्दिर का पुजारी मन्दिर का पुजारी जमीन को अतिक्रमण से मुक्त कराने के लिए जंग लड रहा था। वहीं अतिक्रमण करियों ने जमीन का पट्टा दिखाकर नगर पालिका से प्रधानमंत्री आवास के तहत राशि स्वीकृत भी करा ली। जब पुजारी द्वारा सूचना के अधिकार के तहत जारी पट्टे की सत्यता की जानकारी मांगी तो पट्टे की सत्यता की पोल खुल गयी। स्थानीय प्रथम व्यवहार न्यायालय कनिष्ठ खण्ड न्यायाधीश के यहां से 06082024 के आदेश के पालन में तहसीलदार, नगर पालिका सीएमओ अतिक्रमण हटाने पहुंचे और न्यायालय के आदेश का सम्मान रखकर वापस लौट आये।
यहां अमले द्वारा मन्दिर की जमीन पर बनी दीवार को जेसीबी मशीन से तोड दिया गया। यहां राम जानकी मन्दिर के पुजारी विष्णु शुक्ला ने प्रशासन पर पक्षपात का आरोप लगाया कि मेरा परिवार 1993 से मन्दिर की जमीन को अतिक्रमण से मुक्त कराने के लिए लडाई लड रहा है, प्रशासन का सहयोग नहीं मिल पा रहा है। मेरे पास सारे दस्तावेज हंै जो उक्त भूमि राम जानकी मन्दिर की जमीन होने की पुष्टि करते है। इसे न्यायालय ने स्वीकार किया इसके बाद भी प्रशासन अतिक्रमण हटाये बिना चला गया, मुझे जान से मारने की धमकी मिल रही है।
इनका कहना है-
मेरे द्वारा अस्थायी अतिक्रमण हटाने का आदेश नगर पालिका सीएमओ को दिया था। इसके अलावा भी कोई अतिक्रमण है तो उसकी भी जानकारी लेकर कार्यवाही की जाएगी।
पराग जैन, एसडीएम गोहद