फिर उठी चंबल प्रदेश की मांग, पूर्व विधायक रविन्द्र भिडौसा ने बुलाई महापंचायत

-जिले के फूफ कस्बे में चार मई को होगी महापंचायत

भिण्ड, 28 अप्रैल। देश में एक और नया राज्य बनाने की मांग एक बार फिर तेज हो गई है। नया चंबल प्रदेश बनाने के लिए कवायद की जा रही है। इसके लिए मध्य प्रदेश में महापंचायत बुलाई गई है। प्रस्तावित चंबल प्रदेश के लिए देश के तीन बडे राज्यों- मध्यप्रदेश, यूपी और राजस्थान को तोडना होगा जो कि बेहद कठिन है। इसके बावजूद न केवल महापंचायत बुलाई जा रही है बल्कि प्रस्तावित चंबल प्रदेश का नक्शा तक तय कर लिया गया है। चंबल अंचल के एक पूर्व विधायक ने यह बीडा उठाया है। चंबल प्रदेश के लिए सभी राजनैतिक दलों की सहमति लेने का प्रयास भी किया जा रहा है।
मप्र का उत्तरी इलाका ग्वालियर-चंबल संभाग के रूप में जाना जाता है। हालांकि चंबल इलाके में राजस्थान और यूपी का कुछ हिस्सा भी शामिल है। तीनों राज्यों के इस इलाके को अलग प्रदेश बनाने की मांग की जाती रही है। अब इसके लिए एक बार फिर मुहिम चलाई जा रही है। दिमनी के पूर्व विधायक रविन्द्र भिडोसा ने अलग चंबल प्रदेश की मांग उठाई है। वे कांग्रेस से जुडे रहे हैं पर इस मुद्दे पर सभी दलों का समर्थन चाहते हैं। यही कारण है कि चंबल प्रदेश के लिए सरकारों पर दबाव डालने के लिए उन्होंने महापंचायत बुलाई है।
पूर्व विधायक रविन्द्र भिडोसा ने प्रस्तावित चंबल प्रदेश का प्रारूप भी तैयार किया है। इसे 3 राज्य मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश और राजस्थान के 21 जिलों को मिलाकर बनाने की बात कही जा रही है। इसके लिए 4 मई को महापंचायत बुलाई गई है जो भिण्ड जिले के फूप कस्बे में होगी। रविन्द्र भिडोसा का कहना है कि चंबल इलाका विकास के नजरिए से काफी पिछडा है। इसके लिए चंबल को अलग राज्य घोषित करने की जरूरत है। उनका यह भी कहना है कि हम आमजन की मांग और भावना पर यह मुद्दा उठा रहे हैं। चंबल प्रदेश की मांग करने वालों ने इसका नक्शा भी तैयार करवा लिया है। इसमें 3 राज्यों के 21 जिलों को शामिल किया गया है जिनमें सर्वाधिक 8 जिले एमपी के हैं। चंबल प्रदेश में यूपी के 7 और राजस्थान के 6 जिले जोडने की मांग की जा रही है। यहां की कुल आबादी करीब 6 करोड है।
यहां बता दें कि चंबल प्रदेश की मांग काफी पुरानी है। रविन्द्र भिडोसा के पहले राष्ट्रीय हनुमान सेना भी यह मांग उठा चुकी है। हनुमान सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष नरसिंह कुमार चौबे ने इसके लिए मुहिम चालू की लेकिन बाद में मामला ठंडा पड गया। फरवरी 2024 में लोकसभा चुनावों के पूर्व यह मांग उठाई गई थी। तब अध्यक्ष ने दावा किया था कि संगठन अलग चंबल प्रदेश की मांग 1999 से करता आ रहा है। हनुमान सेना ने इसमें यूपी, एमपी और राजस्थान के 22 जिलों को मिलाने की मांग की है।
यह जिले शामिल करने की मांग
एमपी के गुना, शिवपुरी, अशोकनगर, दतिया, ग्वालियर, मुरैना, श्योपुर और भिण्ड जिला। राजस्थान के धौलपुर, करौली, सवाई माधौपुर, कोटा, बारा और झालावाड जिला। यूपी के आगरा, फिरोजाबाद, इटावा, औरैया, जालौन, झांसी और ललितपुर जिला।