– कलेक्टर ने कार्यालय से जारी दिशा निर्देशों की अव्हेलना तथा प्राप्त शिकायतों, आरएफपी में वर्णित प्रावधान का पालन नहीं करने पर की कार्रवाई
भिण्ड, 29 मई। कलेक्टर भिण्ड संजीव श्रीवास्तव ने कार्यालय से जारी दिशा निर्देशों की अव्हेलना तथा सीएम हेल्पलाइन पोर्टल एवं कार्यालय पर प्राप्त शिकायतों, आरएफपी में वर्णित प्रावधान अनुसार तीन लोक सेवा केन्द्र संचालकों पर 45 हजार रुपए की शास्ति अधिरोपित की है।
कलेक्टर संजीव श्रीवास्तव ने आदेश जारी कर कहा है कि जिला भिण्ड अंतर्गत आमजन की सुविधा हेतु 27 मार्च से नवीन चयनित एवं अनुबंधित ऑपरेटर के माध्यम से लोकसेवा केन्द्रों के संचालन आरएफपी अनुसार कार्य करने के स्पष्ट निर्देश हैं। लोकसेवा केन्द्र अटेर के एसडीएम अटेर द्वारा कार्यालय को प्राप्त शिकायत (लोकसेवा केन्द्र में किसी ऑपरेटर का उपस्थित ना होना, आवेदन दर्ज नहीं किया जाना) 11 अप्रैल में संज्ञान लेते हुए तत्काल कार्यालयीन आदेश 11 अप्रैल 2025 जिले के सभी लोकसेवा केन्द्र की जांच करने हेतु समस्त एसडीएम एवं तहसीलदार को निर्देशित किया गया, 25 मई तक अनुविभाग स्तर से कोई रिपोर्ट/ जांच प्रतिवेदन प्राप्त नहीं हुआ।
तत्पश्चात पुन: सात मई को कार्यालय में समक्ष में उपस्थित होकर अरविन्द कुशवाहा निवासी खरिका तहसील अटेर द्वारा पिछले 4 दिनों से सीमांकन का आवेदन ऑनलाइन दर्ज ना करने की शिकायत प्राप्त हुई एवं सिर्फ तीन ऑपरेटर द्वारा ही लोक सेवा केन्द्र चलाया जा रहा है, बताया। लोक सेवा केन्द्र संचालक को कारण बताओ सूचना पत्र 14 मई को जारी किया गया जवाब 20 मई को प्राप्त हुआ जो कि संतोषजनक नहीं पाया गया एवं जो केन्द्र में मूलभूत सुविधाएं संचालक की जिम्मेदारी है उनके लिए ई-गवर्नेंस एवं पीडब्ल्यूडी तथा लोक सेवा कार्यालय को पत्र लिख कर अपनी जिम्मेदारी दूसरों पर डाली गई। पुन: एसडीएम अटेर को जांच हेतु पत्र 14 मई को जारी किया गया। जिसका जांच प्रतिवेदन 26 मई को अनुविभागीय अधिकारी राजस्व की अनुशंसा एवं तहसीलदार अटेर की जांच रिपोर्ट केन्द्र की कमियों के साथ आवश्यक कार्रवाई हेतु प्राप्त हुई।
यह कि ग्रेडिंग समीक्षा बैठक 17 मई के दौरान तहसील मिहोना की सीएम हेल्पलाइन शिकायत में शिकायतकर्ता ने अवगत करवाया कि मेरे द्वारा ईडब्ल्यूएस प्रमाण पत्र बनवाने के लिए लोकसेवा केन्द्र में आवेदन दिया गया है, परंतु 750 रुपए की मांग की जा रही है और कोई रशीद नहीं दी जा रही है, जिससे आवेदक को समस्या हो रही है। इस संबंध में कारण बताओ सूचना पत्र 18 मई जारी किया गया, जवाब 19 मई को प्राप्त हुआ ईमेल के माध्यम से सिर्फ प्रार्थना पत्र है अधिक मांगे गए रुपयों पर कोई जवाब नहीं दिया गया।
22 अप्रैल को कलेक्टर द्वारा कलेक्टर कार्यालय परिसर के लोकसेवा केन्द्र भिण्ड ग्रामीण का औचक निरीक्षण किया गया। जिसमें पाई गई कमियों की पूर्ति हेतु कारण बताओ सूचना पत्र 24 अप्रैल 2025 जारी किया गया था जिसमें पांच मई को जवाब प्राप्त हुआ। पुन: शिकायत कर्ता सूरज सिंह राजावत सीएम हेल्पलाइन 4 मई द्वारा अवगत करवाया गया कि लोकसेवा केन्द्र भिण्ड ग्रामीण में ऑपरेटर द्वारा कोई भी आवेदन देने के बाद 2-3 दिन बाद उसकी पावती देते हैं और पूछने पर बोलते हैं कि हमारे पास आवेदन अधिक होते हैं, इसी लिए उस दिन पावती देने में असमर्थ हैं, इसीलिए 2 दिन बाद पावती मिलेगी जिससे आवेदक को असुविधा होती है और केन्द्र इंचार्ज भी उपस्थित नहीं होते हैं। फलस्वरूप पूर्व में कार्यालय से जारी दिशा निर्देशों की अव्हेलना तथा आरएफपी में वर्णित प्रावधान अनुसार चयनित निविदाकार/ संचालकों पर शास्ति अधिरोपित की जाती है। जिसमें जय बिल्डर्स लोकसेवा केन्द्र मिहोना पर 15 हजार, महेरे इंटर प्राइजेज लोकसेवा केन्द्र अटेर पर 15 हजार, मधु गुप्ता लोकसेवा केन्द्र भिण्ड ग्रामीण पर 15 हजार, कुल 45 हजार रुपए शास्ति अधिरोपित की गई है। अनुबंधित ऑपरेटर, लोकसेवा केन्द्र उक्त अर्थदण्ड राशि निर्धारित मद में तीन कार्य दिवस में जमा कर चालान की एक प्रति कार्यालय कलेक्टर लोकसेवा जिला भिण्ड को प्रस्तुत करना सुनिश्चित करें।
अनुविभागीय अधिकारी राजस्व भिण्ड, मेहगांव, गोहद, एवं लहार को निर्देशित किया गया है कि कार्यालयीन पत्र 11 अप्रैल 2025 तथा पुन: जारी पत्र 14 मई के क्रम में आपके द्वारा लोकसेवा केन्द्रों के जांच प्रतिवेदन आज तक प्रस्तुत नहीं किए गए हैं, तत्काल 7 दिवस में अनुशंसा सहित प्राथमिकता से प्रस्तुत करें। उक्त संबंध में समस्त अनुबंधित लोकसेवा केन्द्र ऑपरेटर को सख्त चेतावनी दी जाती है कि लोकसेवा केन्द्र का संचालन आरएफपी में वर्णित प्रावधान अनुसार करना सुनिश्चित करें, जिस से आमजन को सुविधा हो एवं शासन की मंशा अनुरूप विभिन्न विभागों की सेवाओं का लाभ समय सीमा में बिना किसी अतिरिक्त शुल्क के दिया जा सके, भविष्य में यदि लोकसेवा केन्द्र के संचालन में कमियां/ अनियमितताएं पायी जाती हैं अथवा आम जन को असुविधा होती है तो लोकसेवा केन्द्र के विरुद्ध कठोर कार्रवाई की जाएगी।